CAA के विरोध प्रदर्शन में शामिल जर्मन छात्र को भारत छोड़ने को कहा गया

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CAA के विरोध प्रदर्शन में शामिल जर्मन छात्र को भारत छोड़ने को कहा गया
CAA के विरोध प्रदर्शन में शामिल जर्मन छात्र को भारत छोड़ने को कहा गया

नागरिकता संशोधन कानून और NRC के खिलाफ देश के अलग अलग हिस्सों में विरोध प्रदर्शन जारी है। आईआईटी मद्रास में एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत पढ़ रहे एक जर्मन छात्र जैकोब लिंडेंथल को इन प्रदर्शनों में हिस्सा लेने की वजह से केन्द्रीय एजेंसियों ने अपने देश लौट जाने को कहा है। सोशल मीडिया पर एक वीडियो भी है जिसमें उन्हें यह कहते हुए सुना जा सकता है कि वो प्रदर्शनकारियों से एकजुटता दिखाने के लिए प्रदर्शन में शामिल हो रहे हैं। वीडियो में लिन्डेनथाल यह भी कह रहे हैं कि वह इसलिए प्रदर्शनों से जुड़ रहे हैं क्योंकि मानवाधिकार हर जगह एक ही जैसे हैं।

16 दिसंबर को IIT परिसर में गजेंद्र सर्किल से हिमालय ब्लॉक तक निकाले गए मार्च में जैकब को हाथ में तख्ती लिए देखा गया था, जिस पर लिखा था- 1933-1945 हम वहां थे। शहर के चेपॉक में 16 दिसंबर की शाम को भी विरोध प्रदर्शन हुआ था, वहां जैकब के हाथ में जो तख्ती थी, उस पर लिखा था- वर्दीधारी अपराधी=अपराधी।

जैकोब ने मीडिया को बताया कि उन्हें फॉरेन रीजनल रजिस्ट्रेशन ऑफिस (एफआरआरओ) ने सबसे पहले संपर्क किया था। जब वे अप्रवासन विभाग गए तो वहां अधिकारियों ने उन्हें कहा कि उन्होंने अपने वीजा के नियमों का उल्लंघन किया है और उन्हें तुरंत अपने देश वापस लौट जाना होगा। नका यह भी कहना है कि आश्चर्यजनक रूप से उन्हें सारे आदेश मौखिक रूप से दिए गए और एक भी आदेश लिखित में नहीं दिया गया। बता दे फिजिक्स से एमएससी कर रहे जैकोब ने पिछले सप्ताह नागरिकता संशोधन कानून को लेकर चेन्नई में हुए विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लिया था। अभी उनकी एक सेमेस्तर की पढ़ाई आईआईटी मद्रास में बची हुई है। उन्हें  मई 2020 में वापस जाना था।

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