बाल कल्याण एवं बाल संरक्षण के लिए सामूहिक प्रयास आवश्यक – मनमोहन शर्मा

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ज़िला दण्डाधिकारी मनमोहन शर्मा ने कहा कि बाल कल्याण एवं बाल संरक्षण की दिशा में प्रभावी कार्य के लिए इन दोनों महत्वपूर्ण विषयों को समदृष्टि से देखा जाना आवश्यक है। मनमोहन शर्मा आज यहां बाल श्रम के लिए ज़िला स्तर पर गठित कार्यबल समिति की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।
मनमोहन शर्मा ने कहा कि बाल संरक्षण के लिए सजग रहकर बाल कल्याण सुनिश्चित बनाया जा सकता है और इस दिशा में सभी को सामूहिक प्रयास करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि बाल मज़दूरी को विभिन्न सरकारी विभागों, स्वयं सेवी संस्थाओं और औद्योगिक संस्थाओं एवं उद्योगों को आपसी समन्वय से कार्य करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त ऐसा वातावरण बनाना भी आवश्यक है कि किसी मजबूरी के कारण बच्चों को मज़दूरी न करनी पड़े।


उन्होंने कहा कि 14 वर्ष से कम आयुवर्ग के बच्चों से किसी भी व्यापारिक प्रतिष्ठान, भूमिगत खदानों, ज्वलनशील और विस्फोटक पदार्थ वाले स्थान तथा इसी तरह के कई अन्य खतरनाक व्यवसाय इत्यादि में कार्य करवाना कानूनी रूप से अपराध है। ऐसा करने वाले के विरूद्ध नियमानुसार कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि चाय की दुकान, ढाबा, होटल, सड़क किनारे खाने-पीने वाले विभिन्न व्यवसाय तथा घरों में 14 वर्ष से कम आयु के बच्चों को वैतनिक अथवा अवैतनिक आधार पर कार्य पर रखना कानूनन अपराध है।
उन्होंने कहा कि किशोर श्रमिक जिनकी आयु 14 से 18 वर्ष के मध्य है, से खतरनाक एवं जोखिम भरे व्यवसायों व प्रक्रियाओं में कार्य करवाना विधिक रूप से निषेध है। उन्होंने कहा कि किशोर श्रमिकों से रात्रि के 07.00 बजे के उपरांत तथा प्रातः 08.00 बजे से पूर्व कार्य नहीं करवाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि इस आयुवर्ग के बच्चों से 38 प्रकार के खतरनाक कार्यों में काम नहीं करवाया जा सकता।


उन्होंने सभी से आग्रह किया कि बाल श्रमिकों का नियमित अनुश्रवण करें और इनकी सूचना तुरंत ज़िला श्रम अधिकारी व पुलिस को देना सुनिश्चित करें। इसके अतिरिक्त यह जानकारी टोल फ्री नंबर 1098 पर भी दी जा सकती हैं। इसका उद्देश्य प्रभावित बच्चों को समय पर सहायता व संरक्षण प्रदान करना है। उन्होंने मीडिया से आग्रह किया कि टोल फ्री नम्बर 1098 की जानकारी जन-जन तक पहुंचाएं।
मनमोहन शर्मा ने ज़िला कार्यक्रम अधिकारी तथा शिक्षा विभाग को निर्देश दिए कि बद्दी व नालागढ़ क्षेत्र में ईंट के भट्टों पर मज़दूरी करने वाले बच्चों को आंगनबाड़ी तथा विद्यालय तक पहुंचाएं ताकि सभी बच्चे शिक्षा के अधिकार के अनुरूप शिक्षा प्राप्त कर सकें और मध्याह्न भोजन से वंचित न रहें। उन्होंने कहा कि शिक्षण संस्थानों में इन बच्चों के साथ मधुर एवं सौहार्दपूर्ण व्यवहार किया जाए ताकि ऐसे बच्चों के आचरण एवं व्यवहार में बदलाव लाकर उन्हें समाज की मुख्य धारा में शामिल किया जा सके। उन्होंने बैठक में उपस्थित सभी अधिकारियों को निर्देश दिए कि बाल संरक्षण अधिनियम को प्रभावी ढंग से लागू करें तथा बाल संरक्षण से संबंधित मामलों पर पुलिस एवं संबंधित विभाग कड़ी कार्यवाही अमल में लाएं।
उन्होंने सभी उपमण्डलाधिकारियों और अन्य सम्बद्ध समक्ष अधिकारियों को निर्देश दिए कि बाल सरंक्षण अधिनियम के तहत समय-समय पर औचक निरीक्षण करते रहें ताकि बाल मज़दूरी पर पूर्ण अंकुश लगाया जा सके।
चाईल्ड लाईन परियोजना की समन्वयक रेनू बाला सोनू ने इकाई द्वारा की जा रही विभिन्न गतिविधियों का विस्तृत ब्यौरा प्रस्तुत किया।
ज़िला श्रम अधिकारी पी.एस. वर्मा ने मुख्यातिथि का स्वागत किया तथा बैठक की कार्यवाही का संचालन किया।
बैठक में अतिरिक्त उपायुक्त सोलन अजय कुमार यादव, ज़िला पर्यटन विकास अधिकारी नरेंद्र चौहान, पुलिस उपाधीक्षक अशोक चौहान, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के ज़िला नियंत्रक नरेंद्र धीमान, ज़िला पंचायत अधिकारी जोगिंदर प्रकाश राणा, ज़िला कल्याण अधिकारी गावा सिंह नेगी, ज़िला कार्यक्रम अधिकारी आई.सी.डी.एस. कविता गौतम सहित विभिन्न अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।

Vishal Verma

20 वर्षों के अनुभव के बाद एक सपना अपना नाम अपना काम । कभी पीटीसी चैनल से शुरू किया काम, मोबाईल से text message के जरिये खबर भेजना उसके बाद प्रिंट मीडिया में काम करना। कभी उतार-चड़ाव के दौर फिर खबरें अभी तक तो कभी सूर्या चैनल के साथ काम करना। अभी भी उसके लिए काम करना लेकिन अपने साथियों के साथ third eye today की शुरुआत जिसमें जो सही लगे वो लिखना कोई दवाब नहीं जो सही वो दर्शकों तक