छात्र अभिभावक मंच निजी स्कूलों द्वारा लगातार हर वर्ष मनमाने तरीके से की जा रही फीस वृद्धि के खिलाफ आवाज उठा रहा है। लेकिन सरकार निजी स्कूलों की मनमानी पर रोक लगाने में असफल रही है। इस साल भी निजी स्कूलों ने मनमानी से ही 8 से 35 प्रतिशत फीस और अन्य चार्जेस में वृद्धि कर दी है जिसके खिलाफ छात्र अभिभावक मंच ने उच्च शिक्षा निदेशालय के बाहर धरना प्रदर्शन किया। मंच ने सरकार पर आरोप लगाया कि सरकार निजी स्कूलों के संचालको के साथ मिली है जिसका खामियाजा अभिभावकों उठाना पड़ रहा है।
छात्र अभिभावक मंच के संयोजक विजेंदर मेहरा ने कहा कि निजी स्कूल ने मनमाने तरीके से फीस में वृद्धि कर दी है। फीस वृद्धि के लिए आम सभा बुलाना जरूरी है लेकिन ऐसा नहीं किया गया। पंजाब की तर्ज पर हिमाचल में भी निजी स्कूलों द्वारा बढ़ाई जा रही फीसों पर अंकुश लगना चाहिए। प्रदेश में इसके लिए कानून बन गया है लेकिन सरकार इसे लागू करने में आनाकानी कर रही है जो सरकार से निजी स्कूलों की सांठ-गांठ को बताता है। इस पर रोक लगनी चाहिए नहीं तो पूरे प्रदेश के अध्यापकों को लामबन्द कर आंदोलन किया जाएगा।