सुनो सरकार मेरा राशन गया कोई डकार

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सुनो सरकार मेरा राशन गया कोई डकार
अभी तक ओ.टी.पी. से बैंक खातों से पैसे निकलने के किस्से तो आपने बहुर सुने होंगे लेकिन क्या आपने सुना है कि कोई राशन भी आपके हिस्से का निकाल सकता है। अगर नहीं सुना तो हम आपको बताते है किस्सा सोलन के चंबाघाट में बसाल रोड़ पर स्थित जिला उपभोक्ता विपणन संघ के राशन डिपो का। राशन लेने वाला अपने घर में बैठा है और उसने राशन लेने के लिए किसी को भी डिपो नहीं भेजा है। लेकिन फिर भी डिपो से उपभोक्ता के मोबाइल पर ओ.टी.पी. नंबर आता है। इससे पहले की वो कुछ समझ पाता उसके मोबाइल पर राशन लेने का भी मैसेज आ जाता है कि उसने राशन ले लिया है और वो भी 265.55 रुपए का । जिसमें 6.5 किलो चावल मूल्य 65 रुपए, चीनी 2.50 किलो चीनी मूल्य 75 रुपए और चावल 13.5 किलो मूल्य 125.55 रुपए है। मजेदार बात यह है कि यह उपभोक्ता डिपो में राशन खरीदने गया ही नही। यही नहीं उन्होंने डिपो होल्डर को अपना ओ.टी.पी. न बर भी शेयर नहीं किया। फिर भी उनका राशन कोई और कैसे ले गया। इसके कारण कई यक्ष प्रश्न खड़े हो गया है। इसके कारण राशन डिपो होल्डर की कथित कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े होने लगे है। उपभोक्ता ने जिला खाद्य एवं आपूर्ति नियंत्रक को भी इसकी शिकायत की है। यही कारण है कि जिला खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ने इस मामले में स बन्धित डिपो होल्डर को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है। अभी यह किसी की समझ में नहीं आया है कि यह गड़बड़ी किस स्तर पर हुई है। विभाग तो फिलहाल इसे साइबर क्राइम से जोडक़र नहीं देख रहा है।
दिलचस्प बात यह है कि उपभोक्ता ने यह मैसेज मिलने के बाद स बन्धित डिपो होल्डर से भी संपर्क किया लेकिन कोई संतोषजनक जवाब नहीं मिला।
मामला 31 जनवरी का है। उपभोक्ता ने जनवरी माह का अपना राशन ही नहीं लिया था। अब उनका राशन कोई दूसरा कैसे ले गया यह जांच का विषय है। क्योंकि राशन कार्ड आधार कार्ड से जुड़े हुए है। पोस मशीन में राशन कार्ड में दर्ज परिवार के किसी सदस्य के फिंगर प्रिंट मैच होने के बाद ही राशन दिया जाता है। राशनकार्ड धारक की मानें तो उनका कहना है कि उनके परिवार का कोई भी सदस्य राशन के लिए डिपों में नहीं गया था। राशन कार्ड भी घर पर था। फिर आधार कार्ड का ओ.टी.पी. कैसे जनरेट हो गया। सबसे बड़ी बात यह है कि उपभोक्ता ने डिपो होल्डर से अपना ओ.टी.पी. न बर भी शेयर नहीं किया तो फिर कैसे डिपो में उनके कोटे का राशन किसी ओर को कैसे दे दिया ।
इस मामले के सामने आने के बाद ऐसा लग रहा है कि राशन डिपो में बॉयोमैट्रिक मशीन के बावजूद गड़बडिय़ां हो रही है। विशेषकर वे उपभोक्ता जो डिपो से हर माह अपना राशन नहीं ले रहे हैं। उनके कोटे का राशन किसी और को दिया जा रहा है। यह पूरा काम महीने के आखिर दिनों में हो रहा है। ऐसा पूरे प्रदेश में हो रहा हो। ऐसी सभावनाओं को नकारा भी नहीं जा सकता। यदि खाद्य एवं आपूर्ति विभाग इस पूरे मामले की जांच करता है तो बहुत बड़े घोटाले का खुलासा हो सकता है।
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प्रारम्भिक तौर यह गड़बड़ी डिपो स्तर ही हुई है। डिपो होल्डर को नोटिस जारी किया जा रहा है। विभाग के निरीक्षक को इस मामले की जांच करने को कहा गया है। जिस राशन कार्ड न बर एच.पी.201607-2443577 का राशन किसी ओर को दिया गया है, उस उपभोक्ता की विभाग का शिकायत मिली है। इस मामले में कार्रवाई की जाएगी। इस तरह का उनके ध्यानार्थ पहला मामला आया है। उन्होंने बताया कि हो सकता है कि ओ.टी.पी. न बर के बाद मैन्यूअल एंट्री की गई हो। इस मामले में सख्त कार्रवाई की जाएगी।
नरेन्द्र धीमान जिला खाद्य एवं आपूर्ति नियंत्रक सोलन

Vishal Verma

20 वर्षों के अनुभव के बाद एक सपना अपना नाम अपना काम । कभी पीटीसी चैनल से शुरू किया काम, मोबाईल से text message के जरिये खबर भेजना उसके बाद प्रिंट मीडिया में काम करना। कभी उतार-चड़ाव के दौर फिर खबरें अभी तक तो कभी सूर्या चैनल के साथ काम करना। अभी भी उसके लिए काम करना लेकिन अपने साथियों के साथ third eye today की शुरुआत जिसमें जो सही लगे वो लिखना कोई दवाब नहीं जो सही वो दर्शकों तक