दिल्ली:वकीलों द्वारा अपने खिलाफ मारपीट से आक्रोशित सैकड़ों पुलिसकर्मियों का अभूतपूर्व धरना-प्रदर्शन 10 घंटे बाद खत्म हो चुका है। अपनी ज्यादातर मांगों के माने जाने के आश्वासन मिलने और पुलिस के आला अधिकारियों के लगातार समझाने के बाद प्रदर्शनकारी पुलिसकर्मी धरना खत्म करने को सहमत हो गए। प्रदर्शनकारी पुलिसकर्मी 10 घंटे तक अपनी मांगों पर अड़े रहे। आला अफसर लगातार उन्हें मनाने की कोशिश करते कि उनका मकसद पूरा हुआ और अब वे काम पर लौट जाएं। सीनियर अधिकारी भरोसा दे रहे थे कि पुलिसकर्मियों की सभी जायज मांगें मानी जाएंगी।
दिल्ली पुलिस के जॉइंट कमिश्नर देवेश श्रीवास्तव ने कहा- आप सभी की मांगें मान ली जाएंगी। साकेत और तीस हजारी कोर्ट मामले में संबंधित आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी। प्रदर्शन में जितने भी कर्मचारी शामिल थे, उनके खिलाफ कोई विभागीय कार्रवाई नहीं की जाएगी।
इस बीच, साकेत कोर्ट में मारपीट के मामले में पुलिसकर्मियों के बयान के आधार पर 2 एफआईआर दर्ज की गई हैं। उधर, बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने प्रदर्शन कर रहे वकीलों से काम पर वापस लौटने की अपील की है। बार काउंसिल ने कहा कि गुंडागर्दी करने वाले वकीलों की पहचान की जाए। तीस हजारी कोर्ट में 2 नवंबर को और 4 नवंबर को साकेत कोर्ट और कड़कड़डूमा कोर्ट में पुलिस और वकीलों के बीच झड़प हुई थी। इसमें करीब 20 पुलिसकर्मी और कुछ वकील घायल हुए थे।
पुलिस कमिश्नर पटनायक ने कहा, “दिल्ली पुलिस हमेशा से चुनौतियां देखती आई है। हम हर परिस्थिति को हैंडल करते हैं। हम कानून के रखवाले हैं और इस व्यवस्था को संभालने की जिम्मेदारी हमारी है। न्यायिक जांच हो रही है, इसलिए उम्मीद करता हूं कि साकेत कोर्ट और अन्य जगहों पर जो भी घटनाएं हुई हैं, इन्हें हम देखेंगे। न्यायिक जांच में भी कुछ निष्कर्ष निकलेगा। इसलिए धैर्य रखें और ड्यूटी पर वापस जाएं।”
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