धू-धू कर जल रहा था शिमला का जंगल, हेलीकाप्टर का सहारा लेना चाहा तो किराया सुनकर ही काबू में आ गई आग

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shimla forest was burning in smoke of helicopter if you wanted

शहर के टूटीकंडी क्षेत्र में पिछले दिनों जंगल में लगी आग को बुझाने के लिए वन विभाग ने राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण से मामला सामने आया है। एयरफोर्स टीम ने कहा कि एक उड़ान के लिए आठ लाख रुपए खर्च किए जाएंगे और उड़ान आधा घंटे की होगी। राज्य प्रबंधन ने वन विभाग को उड़ान की लागत से अवगत करवाया। इसी बीच वन विभाग की ओर से पत्र आया जंगल में लगी आग अब नियंत्रण में हेलीकाप्टर की जरुरत नहीं है। 


प्राधिकरण के निदेशक सुदेशकुमार ने कहा कि आग लगने की घटनाओं से जुड़े मामलों में लोग संस्था और आपदा प्रबंधन को तुरंत सूचित करते हैं। आग की घटनाओं पर काबू डालना संबधित विभागों का काम होता है।  वन विभाग ने शहर के समीप लगी आग काबू पाने के लिए सहायता मांगी,लेकिन बाद में हेलीकाप्टर की मदद लेने से इंकार कर दिया। हेलीकाप्टर उड़ान आधा घंटे पहले सतलुज नदी के डैम से होनी थी। आपदा प्रबंधन जंगल में लगने वाली को बुझाने का काम नहीं करती।

Vishal Verma

20 वर्षों के अनुभव के बाद एक सपना अपना नाम अपना काम । कभी पीटीसी चैनल से शुरू किया काम, मोबाईल से text message के जरिये खबर भेजना उसके बाद प्रिंट मीडिया में काम करना। कभी उतार-चड़ाव के दौर फिर खबरें अभी तक तो कभी सूर्या चैनल के साथ काम करना। अभी भी उसके लिए काम करना लेकिन अपने साथियों के साथ third eye today की शुरुआत जिसमें जो सही लगे वो लिखना कोई दवाब नहीं जो सही वो दर्शकों तक