टूलकिट मामले में दिशा रवि की गिरफ्तारी के बाद दो अन्य के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी
किसानों के प्रदर्शन से जुड़ी टूलकिट मामले में बेंगलुरु से दिशा रवि की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने दो और आरोपियों के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी करवाया है। इस मामले में पुलिस को निकिता जैकब और शांतनु की तलाश है। इन दोनों के खिलाफ गैर-जमानती वॉरंट जारी होने के बाद मुंबई सहित कई अन्य जगहों पर छापेमारी जारी है। बताया जा रहा है कि निकिता जैकब बॉम्बे हाईकोर्ट में वकील हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल के सूत्रों ने यह बताया है कि उनकी एक टीम 11 फरवरी को निकिता जैकब के घर पहुंची थीं। हालांकि, यह टीम शाम को निकिता के घर पहुंची और उनसे पूछताछ नहीं कर सकी थी। जबकि, निकिता ने एक दस्तावेज पर साइन किए थे और कहा था कि वह जांच में सहयोग करेंगी लेकिन इसके बाद वह अंडरग्राउंड हो गईं।
वहीं इस मामले में वॉरंट जारी होने के बाद निकिता जैकब के वकील ने राहत के लिए मुंबई हाई कोर्ट का रुख किया है। वकील ने कोर्ट के गिरफ्तारी से अंतरिम राहत देन की अपील की है। इसके साथ ही मंगवार को मामले की तत्काल सुनवाई के लिए भी गुहार लगाई है। वहीं दिशा रवि की गिरफ्तारी को लेकर विपक्षी दलों ने केंद्र सरकार को निशाने पर ले लिया है। प्रियंका गांधी वाड्रा, शशि थरूर, कपिल सिब्बल समेत कांग्रेस के कई नेताओं ने इसकी कड़ी निंदा की है। डीएमके नेता कनिमोई, आम आदमी पाट्री के अध्यक्ष और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी इसे ‘लोकतंत्र पर हमला’ बताया है। किसान आंदोलन के बीच यह दूसरा मौका है जब विपक्षी दलों ने एक सुर से केंद्र सरकार का विरोध शुरू किया है। विपक्षी नेताओं ने दिशा रवि की कम उम्र का तर्क दिया जिसपर बेंगलुरु से बीजेपी सांसद ने कुछ आतंकवादियों के नाम लिए और कहा कि उनकी उम्र भी तो लगभग इतनी ही थी। दिशा रवि की गिरफ्तारी का कई गैर-सरकारी संगठनों ने भी विरोध किया है।
बता दें कि टूल किट मामले में में गिरफ्तार 21 साल की छात्रा दिशा रवि पांच दिन की पुलिस हिरासत में है। दिशा पर आरोप है कि उसने टूलकिट को एडिट किया और उसमें कुछ चीज़ें जोड़कर उसे आगे भेजा। दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने उसे रविवार बेंगलुरू से गिरफ्तार करने के बाद दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया। जहां से दिशा को 5 दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया है।