जगदम्बा रामलीला मंडल द्वार सोलन में आठवें दिन की लीला दिखाई
कल रात जगदम्बा रामलीला मंडल द्वारा गंज बाजार सोलन में आठवें दिन की लीला दिखाई गई,जिस में सब से पहले मां काली की झांकी दिखाई गई,झांकी में दिखाया गया कि कैसे रक्तबीज नामक राक्षस ने ब्रह्मा जी से वरदान प्राप्त किया कि जैसे ही उस की रक्त की बूंद धरती पर गिरेगी, वैसे ही कई रक्तबीज पैदा हो जायेगे, वरदान प्राप्त करने के बाद तीनों लोकों में रक्तबीज ने त्राहि त्राहि मचा दी, देवता भी जब इस रक्तबीज से हार गए तब वह विष्णु जी को जा कर अपनी व्यथा सुनाई, विष्णु जी सभी देवताओं को साथ ले कर महादेव के पास जाते हैं और महादेव से रक्तबीज का संहार करने के लिए कहते हैं, महादेव पार्वती जी को रक्तबीज के संहार के लिए भेजते है और सभी देवता अपनी शक्तियां भी पार्वती जी को देते है,पार्वती जी दुर्गा का रूप धारण करके रक्तबीज से युद्ध करती है पर जैसे ही रक्तबीज की रक्त की बूंद धरती पर गिरती हैं कई रक्तबीज पैदा हो जाते है, दुर्गा मां फिर काली मां का रूप धारण करती है और रक्तबीज के रक्त की एक एक बूंद खपर में ले कर पी लेती हैं,और रक्तबीज का वध कर देती हैं, परंतु मां काली का क्रोध शांत नहीं होने पर महादेव धरती पर लेते जाते हैं,जब काली मां का पैर महादेव पर पड़ता है तब जा कर मां का क्रोध शांत होता है,मां काली और रक्तबीज की झांकी ने दर्शकों का मन मोहे लिया
उस के बाद बाली वध की लीला दिखाई गई,राम भगवान सीता मां की तलाश में किष्किंधा पहुंचते है वहां उन ही मुलाकात हनुमान जी से होती है, हनुमान जी राम जी और लक्ष्मण जी को अपने कंधों पर बिठा कर सुग्रीव के पास ले जाते है, सुग्रीव और राम जी की मित्रता की सुंदर लीला दिखाई गई, सुग्रीव ने राम जी को बताया कि कैसे उस के भाई बाली ने उसे उस के राज्य से बाहर निकाल दिया और उसकी पत्नी पर भी अधिकार कर लिया है,राम जी सुग्रीव को बाली से युद्ध करने के लिए भेजते हैं और कहते हैं कि आज बाली का वध वह कर देंगे, परंतु बाली सुग्रीव को युद्ध में बहुत मरते हैं और युद्ध भूमि से भगा देता है ,मार खा कर जब सुग्रीव वापिस आता है तो राम जी को बोलता ही की ये किसी मित्रता निभाई और उसे मौत के मुंह में भेज दिया,राम जी बोलते हैं आप दोनों भाई कद, रंग,रूप, में एक जैसे हो और युद्ध के दौरान वो तीर चलते और वह बाली को ना लग कर आप को लग जाता तो बड़ा नुकसान होता, अब की बार राम जी सुग्रीव को एक माला पहनाते है और युद्ध के लिए भेजते हैं,इस बार बाली को बाण चला कर उसका वध कर देते है,बाली मरने से पहले अपने भाई सुग्रीव को उस का राज्य वापिस दे जाता है और अंगद को राम जी को सौप देता है,
आज के मुख्य अतिथि में नगर निगम की उप महापौर मीरा आनंद, बीजेपी शहरी मंडल अध्यक्ष शैलेंद्र गुप्ता, रेखा साहनी,रजनी राजपूत,अमरदीप पंजा संजय मलिक,अनिल कुमार और पैरागॉन होटल के मालिक सुरेंद्र वर्मा उपस्थित रहे,
मां काली की भूमिका में सचिन वर्मा, रक्तबीज सुमित खन्ना, और मनी राय, इंद्र नीरज,सुग्रीव मनीष मरवाहा, बाली सुमित खन्ना, हनुमान प्रदीप तंवर,अंगद प्रणव रावत ने निभाई
श्री जगदम्बा रामलीला मंडल के निर्देशक हरीश मारवाहा, सह निर्देशक कुलदीप रावत, प्रधान धर्मेंद्र ठाकुर, वरिष्ठ संयोजक मुकेश गुप्ता,सचिव गुरुशरण सिंह ने मुख्य अतिथि को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया