सोलन में प्री-प्राइमरी शिक्षकों की विशेष प्रशिक्षण कार्यशाला शुरू
खेल-खेल में सीखने पर फोकस: सोलन में प्री-प्राइमरी शिक्षकों की विशेष प्रशिक्षण कार्यशाला शुरू । राज्य परियोजना कार्यालय,समग्र शिक्षा, हिमाचल प्रदेश के तत्वावधान में 5 दिवसीय प्री–प्राइमरी कार्यशाला के प्रथम चरण का शुभारंभ जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान सोलन के तत्वाधन मॆं हुआ, जिसमें प्रदेश के 6 जिलों(मंडी , सिरमौर , लाहुल-स्पिति, शिमला , किन्नोर और सोलन ) से 90 प्रतिभागियों ने भाग लिया | इसमें प्री–प्राइमरी जिला समन्वयक,चयनित अध्यापक एवं स्वयं सेवी संस्था ‘प्रथम’ के सदस्य शामिल है | कार्यशाला का आयोजन श्री राजेश शर्मा,राज्य परियोजना निदेशक, समग्र शिक्षा के मार्गदर्शन में किया गया l कार्यशाला का समापन उपशिक्षा निदेशक (गुणवत्ता) एवं जिला परियोजना अधिकारी (समग्र शिक्षा),डाइट सोलन डॉ राजेन्द्र वर्मा जी ने किया ,उन्होने अध्यापन के विभिन्न आयामों पर चर्चा करते हुए सभी प्रतिभागियों से कार्यशाला में प्री-प्राइमरी से संबन्धित बातों को अध्यापकों तक पहुचानें का आग्रह किया l
पूर्व–बाल्यवस्था देखभाल एवं शिक्षा (ECCE)/प्री-प्राइमरी कार्यक्रम के राज्य समन्वयक दिलीप कुमार वर्मा ने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए राज्य में चल रहे प्री–प्राइमरी कार्यक्रम पर अपने विचार रखे और प्रशिक्षण को सफल बनाने के लिए प्रतिभागियों को प्रोत्साहित किया एवं आवश्यक दिशा–निर्देश दिए| पूर्व–बाल्यवस्थादेखभाल एवं शिक्षा (ECCE)/प्री-प्राइमरी कार्यक्रम के जिला समन्वयक श्री विनय शर्मा जी ने सभी प्रतिभागियों का स्वागत किया l इस कार्यशाला में प्री–प्राइमरी कक्षाओं के बच्चों को विकास आधारित गतिविधियाँ जिसमें मुख्यत:शारीरिक, बौद्धिक, भाषा, सामाजिक–भावनात्मक एवं रचनात्मक विकास से सम्बन्धित गतिविधियों को सरलता एवं खेल–खेल द्वारा सिखाने पर बल दिया जायेगा और साथ ही साथ प्री–प्राइमरी के बच्चों की माताओं, अभिभावकों और समुदाय से बच्चों की पढ़ाई में सहयोग के लिए आयोजित की जा सकने वाली गतिविधियों पर भी व्यापक चर्चा की जाएगी |

इस कार्यशाला में श्रीमती रंजना कुमारी, सहायक प्राचार्य राज्य शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद ,सोलन ने पूर्व–बाल्यवस्था देखभाल एवं शिक्षा(ECCE) के सन्दर्भ में विभिन्न पॉलिसी जैसे राष्ट्रीय शिक्षा नीतिऔर फाउंडेशनलस्टेज के लिए राष्ट्रीय पाठ्यचर्या रुपरेखा (NCF)2022 व राज्य पाठ्यचर्या (StateCurriculum ) के बारे विस्तार–पूर्वक बताया | प्रथम संस्था के राष्ट्रीय प्रतिनिधि सुश्री समयुक्ता सुब्रमनियन, अर्चना सिंह, अलिश्बा, स्वप्ना, कृतिका राज्य प्रतिनिधि जोगिंदर लाल, कुलदीप पुंडीर, केवल कृष्ण, जागृति शर्मा, पुरुषोत्तम ने ईसीसीई के महत्व, 3-6 साल के बचों की विशेषताओं और उनके सीखने की प्रक्रिया पर विस्तार से बात की ।
बच्चों का सर्वांगीण विकास किस प्रकार किया जाए और पूर्व–बाल्यवस्था देखभाल एवं शिक्षा के विभिन्न आयामों को समझाया|इसके बाद प्रतिभागियों को पांच विकास आधारित गतिविधियों को बच्चों के साथ किस प्रकार करवाया जाए इसके बारे में जानकारी दी गई l
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